मूढ़ बनाने का कारखाना
लेखक : जॉन टेलर गेट्टो
ISBN : 978-93-82400-00-4
140 pages | Paperback
About the Book
लगातार बजने वाली घंटियाँ, एक कक्ष से दूसरे कक्ष में, प्रतिदिन आठ घंटे की कैद, आयु के अनुसार सब्जी-भजियो की तरह विभाजन, निजता की कमी एयर निरंतर निगरानी, क्रियाशील समुदाय से पूरी तरह काटकर तथा स्कूल के बाकी सभी पाठ्यकर्मो की रचना इस प्रकार की गयी है की हमारे बच्चो को यह न सीखने दिया जाये कि वे किस तरह सोच समझकर कार्य करें - वे हमेशा दुसरो पर निर्भर बने रहे।
तीस वर्ष तक सरकारी स्कूलों में पढ़ाने और लगातार पुरस्कार जीतने के बाद जॉन टेलर गेट्टो इस दुःखद निर्णय पर पहुंचे की स्कूलिंग का शिक्षा से कोई वास्ता नहीं है - बहुत ही थोड़ा सा - बल्कि युवाओं को यह सीखना कि कैसे आर्थिक और सामाजिक प्रणाली की चाकरी की जाये। डंबिंग अस डाउन वर्त्तमान स्कूली शिक्षा प्रणाली की कई भयानक वास्तविकताओं को उजगार करती हैं और उन अभिभावकों के लिए एक पथ-प्रदर्शक "दूसरा और सही रास्ता" तलाशना चाहते है। यह पुस्तक भारतीय सन्दर्भ में भी उतनी ही प्रासंगिक है और हमे यह सोचने को बाध्य करती है कि हम कैसे हमारे बच्चो को शिक्षित करे - और किसके लिए।
जॉन टेलर गेट्टो ने न्यूयार्क सिटी पब्लिक स्कूल में तीस वर्षो तक पढ़ाया है। उन्हें इस दौरान न्यू यार्क सिटी टीचर अवार्ड और न्यू यार्क स्टेट टीचर अवार्ड से भी पुरुस्कृत किया गया था। शिक्षा में नई सोच को लेकर वे काफी लोकप्रिय वक्त हैं और अपने व्याख्यानों के लिए उन्होंने पुरे उत्तर अमरीका में करीब १५ लाख मील लम्बी यात्राये की है। उनकी प्रलयकारी पुस्तक "डंबिंग अस डाउन" की अंग्रेजी मेंअब तक दो लाख से भी ज्यादा प्रचय छाप चुकी है। हाल ही में सत्याग्रह की भावना से उन्होंने मानकीकृत परीक्षा को तोड़ने और शिक्षा प्रणाली से असहयोग करने के लिए एक आंदोलन की शुरुआत की हैं - परीक्षा पुस्तक में यह लिखना कि "मैं आपका टेस्ट नहीं लेना पसंद करूँगा।" उनकी अन्य पुस्तके है, ए डिफरेंट काइंड ऑफ़ टीचर , द अंडरग्राउंड हिस्ट्री ऑफ़ अमेरिकन एजुकेशन और वीपन्स ऑफ मास इंस्ट्रक्शन, डंबिंग अस डाउन, मूढ़ बनाने का कारखाना।